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मलाईदार और गैर मलाईदार परत के बीच में क्या अंतर है !!

नमस्कार दोस्तों…जैसा की आपको पता है कि भारत कई राज्यों से मिला एक देश है. जिसमे कई अलग अलग भाषा, संस्कृति आदि का प्रयोग किया जाता है. जिस तरह कई भाषा, लोगों की संस्कृति आदि में भिन्नता पाई जाती हैं भारत में वैसे ही कुछ जातियां भी हैं जो एक दूसरे से भिन्नता रखती हैं और इन्ही विभिन्न जातियों में कुछ वर्ग बना दिए गए हैं जिनके अनुसार सरकार द्वारा आरक्षण का प्राबधान चलाया गया है. जैसे कि: एससी, एसटी, ओबीसी और सामान्य।

जिसमे एससी, एसटी और ओबीसी के लिए आरक्षण का नियम है और सामान्य वालों को कोई भी आरक्षण नहीं मिलता है. तो दोस्तों अब हम मुद्दे पे आते हैं दरसल आज के टॉपिक में हम बताने जा रहे हैं कि क्रीमी लेयर और गैर क्रीमी लेयर क्या है और इनमे क्या अंतर है. दोस्तों ओबीसी को दो भागो में बाट दिया गया है पहला क्रीमी परत और दूसरा गैर क्रीमी परत. जिसे हम अभी विस्तार में बताएंगे और साथ में ये भी बताएंगे की इन दोनों में क्या अंतर होते हैं.

क्रीमी लेयर क्या है | क्रीमी परत क्या है | मलाईदार परत क्या है !!

जैसा कि हम सब जानते हैं कि ओबीसी एक वर्ग है जिसके अंतर्गत कई जातियां आती है और उनमे से किसे आरक्षण की सुविधा मिलेगी और किसे नहीं उसके लिए क्रीमी और नॉन क्रीमी लेयर बनाई गयी है. क्रीमी लेयर में वो ओबीसी वाले आते हैं जिनके परिवार की सालाना आय 8 लाख से अधिक होती है जिन्हे आरक्षण की सुविधा नहीं मिल पाती है न किसी तरह के पैसों में और न किसी प्रकार की सरकारी नौकरियों में. कुछ समय पहले इस सालाना आय की सीमा को बढ़ाने की बात चली थी जिसे बढ़ा के 8 लाख कर दिया गया है . जिसे शायद कुछ दिनों में लागू कर भी दिया जाये.

नॉन क्रीमी लेयर क्या है | गैर क्रीमी परत क्या है | गैर मलाईदार परत क्या है !!

नॉन क्रीमी लेयर या गैर क्रीमी परत में वो ओबीसी वाले आते हैं जिनकी सालाना आय 8 लाख से कम या 8 लाख होती है. इन्हे आरक्षण की सारी सुविधाएँ मुहैया कराइ जाती हैं. इन्हे नौकरी, पढ़ाई, पैसों आदि में अच्छा खासा आरक्षण मिलता है और इस सालाना आय को जल्द ही 8 लाख में बदला गया है .

Difference between Creamy and Non Creamy Layer in Hindi

मलाईदार और गैर मलाईदार परत के बीच में क्या अंतर है !!

# क्रीमी लेयर में ओबीसी वालों को आरक्षण नहीं दिया जाता है और नॉन क्रीमी लेयर में ओबीसी वालों को आरक्षण मिलता है.

# क्रीमी लेयर में ओबीसी लोगों को सामान्य लोगों की तरह कोई आरक्षण नहीं मिलता है जबकि नॉन क्रीमी लेयर में ओबीसी लोगों को सभी प्रकार के आरक्षण मिलते हैं.

# क्रीमी लेयर में ओबीसी वालों के परिवार की सालाना आय अब 8 लाख से ऊपर हो गयी है जबकि नॉन क्रीमी लेयर में ओबीसी वालों के परिवार की सालाना आय 8 लाख हो गयी है.

# क्रीमी लेयर में वो आते हैं जो ओबीसी तो होते हैं लेकिन उनकी सालाना आय ठीक होती है जिसके कारण इन लोगों को आरक्षण नहीं मिलता जबकि नॉन क्रीमी लेयर में ओबीसी के वो लोग आते हैं जिनकी आय कम होती है और इन्हे वाकायदा सभी आरक्षण मिल पाते हैं.

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Ankita Shukla

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