देवी साध्वी चित्रलेखा जी एक फेमस मोटिवेशनल स्पीकर हैं. वह सबसे कम उम्र के प्रबुद्ध और पवित्र आत्मा हैं. वह भगवत गीता पर बोलती है और कभी-कभी रामायण पर। उनका जन्म 1 9 जनवरी 1 99 7 को एक गांव खंबी, जिला पलवल, हरियाणा (भारत) में हुआ था। उनकी माता श्रीमती चमेली देवी और पिता श्री टीकाराम शर्मा जी हैं. वह ब्राह्मण परिवार से हैं. वह आदी वृंदावन भाषा जानते हैं क्योंकि उनके गांव में, यह बोली जाने वाली थी।
ये 4 साल की उम्र में बंगाली गुरु गिरिधारी बाबा की संस्था से जुड़ी. और 6 साल की उम्र में इन्होंने अपनी पहली कथा लोगों के बीच सुनाई. इन्होने अपनी पहली कथा उत्तर प्रदेश के बरसाना में सुनाई थी. जहाँ अचानक से बाबा जी ने उन्हें माइक देके कथा बोलने को कहा और पूरी लगन के साथ इन्होने सुनाया भी.
उसी पश्चात बाबा रमेश जी ने बरसाने के 7 दिन के कार्यक्रम में इनसे ही पूरी कथा कहलवाई. उनकी पढ़ाई का भी पूरा ध्यान रखा गया. इन्होने केवल भारत में ही नई बल्कि UK, USA और ऑस्ट्रेलिया में भी कथा कही है.
इन्होने बृज भाषा को अपनी कथाओं से जोड़ लिया क्योंकि यह भाषा इनके गाओं में बोली जाती थी. वह इस संस्कृति को प्यार करती है और वह अपनी प्रेरक और धार्मिक किताबें जैसे श्रीमद भागवत गीता का ज्ञान देती हैं।
उनका बोलना बहुत प्रभावी है और अगर आप इसे सुनेंगे तो आप कुछ समय के लिए अपनी समस्याएं भूल जाएंगे और आप अपने जीवन के लिए प्रभावी समाधान प्राप्त करेंगे। वह कहती है कि हमारे जीवन का कुछ समय हमें दूसरों को मदद करने के लिए देना चाहिए और हमारे माता-पिता की देखभाल करनी चाहिए. उनकी उम्र केवल 17 वर्ष है लेकिन अब वे सभी भक्तों के दिल में भगवान कृष्ण की धार्मिक कहानी के साथ उनके अनमोल आवाज के माध्यम से जगह ले ली हैं। अभी कुछ समय पहले ही हमारी साध्वी जी ने विवाह किया है.